अपना झाबुआ
9 मार्च 2025 को झाबुआ में आयोजित भील महासंघ मध्यप्रदेश के विशाल सम्मेलन में रखी गई प्रमुख माँगों पर अब प्रदेश सरकार ने कार्रवाई की प्रक्रिया शुरू कर दी है। मुख्यमंत्री कार्यालय, राजस्व विभाग, और कलेक्टर कार्यालय झाबुआ के बीच हुए पत्राचार से यह स्पष्ट हुआ है कि मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने स्वयं इस संबंध में आवश्यक कार्यवाही के निर्देश जारी किए हैं।सम्मेलन में रखी गई प्रमुख माँगें भील महासंघ के मिडिया प्रभारी मनोज अरोरा ने जानकारी देते हुवे बताया की सम्मेलन में भील महासंघ प्रदेश अध्यक्ष एवं पूर्व सांसद गुमानसिंह डामोर ने मुख्यमंत्री के समक्ष क्षेत्र के विकास और जनहित से जुड़ी कई महत्वपूर्ण घोषणाएँ रखी थीं, जिनमें मुख्यतः —
भील समाज की संस्कृति और शिक्षा के संरक्षण हेतु भील भवन का निर्माण।
झाबुआ में भूमि आवंटन कर धर्मशालाओं के निर्माण की माँग।
युवाओं के लिए प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी हेतु प्रशिक्षण केंद्र की स्थापना।
अनास एवं नर्मदा नदी क्षेत्र के जल संरक्षण कार्यों को प्राथमिकता।
मुख्यमंत्री कार्यालय से जारी निर्देश

मुख्यमंत्री कार्यालय, मध्यप्रदेश द्वारा जारी पत्र क्रमांक 2045/सीएमएस/एसडीईटी/2025 दिनांक 1 अक्टूबर 2025 के माध्यम से राजस्व विभाग को निर्देशित किया गया कि भील महासंघ द्वारा की गई घोषणाओं की विस्तृत जानकारी प्राप्त कर कार्यवाही सुनिश्चित की जाए।इसके पश्चात राजस्व विभाग, मंत्रालय भोपाल ने 24 अक्टूबर 2025 को पत्र जारी कर झाबुआ कलेक्टर को भूमि आवंटन एवं निर्माण कार्यों के लिए आवश्यक प्रस्ताव तैयार करने के निर्देश दिए।
कलेक्टर झाबुआ ने दी कार्रवाई की पुष्टि
कलेक्टर झाबुआ कार्यालय से 7 नवंबर 2025 को जारी पत्र में कहा गया है कि श्री गुमानसिंह डामोर की अध्यक्षता में आयोजित सम्मेलन की घोषणाओं पर कार्यवाही प्रारंभ कर दी गई है। संबंधित विभागों — जल संसाधन, जनजातीय कार्य एवं जिला योजना अधिकारी — को आवश्यक प्रस्ताव एवं रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देश दिए गए हैं।
भील महासंघ ने मुख्य मंत्री का आभार माना
भील महासंघ के पदाधिकारियों ने बताया कि मुख्यमंत्री द्वारा की गई इस पहल से समाज में उत्साह का माहौल है। प्रदेशाध्यक्ष गुमानसिंह डामोर ने कहा कि “मुख्यमंत्री ने हमारी माँगों को गंभीरता से लिया,अब प्रशासनिक स्तर पर कार्य प्रारंभ होना समाज के लिए ऐतिहासिक कदम है।





